जमानत (Bail) क्या है और इसके प्रकार

भारतीय कानून में जमानत का मतलब है आरोपी को कुछ शर्तों पर अस्थायी रूप से जेल से बाहर आने की अनुमति देना। जमानत न्यायालय द्वारा दी जाती है ताकि आरोपी मुकदमे के दौरान अदालत में पेश होता रहे।

  1. Regular Bail (नियमित जमानत): FIR दर्ज होने और गिरफ्तारी के बाद कोर्ट से मिलती है।
  2. Interim Bail (अंतरिम जमानत): थोड़े समय के लिए अस्थायी राहत।
  3. Anticipatory Bail (अग्रिम जमानत): गिरफ्तारी से पहले ली जाने वाली जमानत।
  • व्यक्ति की स्वतंत्रता की रक्षा करता है।
  • गलत आरोपों से बचाता है।
  • न्यायिक प्रक्रिया को संतुलित रखता है।

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